कंप्यूटर क्या है ? | What is a Computer in Hindi

कंप्यूटर क्या है


कम्प्यूटर वर्ड Italian Word Compute से बना है। जिसका अर्थ Calculate करना होता है। इसलिए इसे Calculating Machine भी कहा जाता है। इसका फुल फॉर्म Common Oriented Machine Particularly Used For Trade and Educations Research होता है। आज के युग में कम्प्यूटर सिर्फ एक Calculating Machine तक सीमित नही है। इसलिए वर्तमान समय में कम्प्यूटर की परिभाषा निम्न प्रकार दी जा सकती है।


कंप्यूटर की परिभाषा

“कम्प्यूटर एक  device  है जो Arithmetic Calculation के साथ Data Storage,Communication तथा Entertainment का कार्य करता है। कम्प्यूटर एक इलेक्ट्रानिक डिवाईस है जो डाटा या इनफार्मेशन को ग्रहण करता है तथा यूजर के निर्देशों के अनुसार प्रोसेस करके उसका रिजल्ट प्रदान करता है ।

Computer

कंप्यूटर का इतिहास क्या है

कम्प्यूटर का इतिहास 3000 वर्ष पुराना है जब चीन मे एक गणना यन्त्र अबेकस का आविष्कार हुआ था। जिसका उपयोग जोड़ने व घटाने मे किया गया था। जापान मे अबेकस की’सारोवान’ कहा जाता था। इसमे कई समान्तर छड़ो को एकसाथ एक साँचे मे कस दिया जाता था जिसमे छोटी छोटी गुरिया लगी थी। इन गुरियो की सहायता से मैथमेटिकल कैलकुलेशन किदै जाते थे। पहली मेकेनिकल एडिग मशीन का आविष्कार 1642 मे ब्लेज पास्कल द्वारा किया गया,

जिसमे एक पहिये पर कुल 10 दांते लगे होते थे जिन पर 0-9 तक के अंको को प्रदर्शित किया गया था।

 प्रत्येक चक्री का स्थानीय मान इकाई दहाई सैकडा आदि था। इस महल को एडिंग मशीन कहते थे यह मशीन घड़ी और ओडोमीटर के सिद्धांत पर कार्य करती थी।1671 में जर्मन के बैरोन गॉटफ्रीड बिलहेम वोन लेवनीज ने गुणा करने हेतु प्रथम कैलकुलेटर के आविष्कार किया। चार्लस बेवेज को आधुनिक डिजिटल कंप्यूटर का जनक कहा जाता है। चालंस केदज ने

1822 मे एक गणितीय मशीन DIFFERENCE इंजन का आविष्कार किया जो गणितीय सस की गणना करने में सक्षम थी। यह पूर्णतः आटोमेटिक मशीन थी जिसमे गयर और शाफट लगे।और यह भाप से चलती थी। 1833 मे चाल बेदेज ने एक अन्य मशीन का अविष्कार किया।जिसका नाम एनालिटिकल इंजन था। इस यन्त्र मे एक अतिरिक्त मेमोरी स्टोरेज था जिसमे डेट को पंच कार्ड के अंदर रख सकते थे।


कम्प्यूटर का पूरा नाम क्या हैं

तकनीकी रूप से कंप्यूटर का कोई फुल फॉर्म नहीं होता है. फिर भी कंप्यूटर का एक काल्पनिक फुल फॉर्म है,

C – Commonly

O – Operating

M – Machine

P – Particularly

U – Used 

T – Technology

E – Education 

R – Research

कंप्यूटर प्रकार कितने के होते हैं

  • अनुप्रयोग के आधार पर कम्प्यूटर प्रकार
  1. Analog Computer
  2. Digital Computer
  3. Hybrid Computer
  • उद्देश्य के आधार पर कम्प्यूटर प्रकार
  1. General Purpose Computer
  2. Special Purpose Computer
  • आकार के आधार पर कम्प्यूटर प्रकार
  1. Micro Computer
  2. Workstation
  3. Mini Computer
  4. Mainframe Computer
  5. Supercomputer


 कंप्यूटर कितने सिस्टम का होता है 

कम्प्यूटर सिस्टम पाँच बेसिक Components से मिलकर बना होता है :-
1. Hardware :- कम्प्यूटर के वह सभी भौतिक तत्व जिन्हें देखने के साथ-साथ टच किया जा सकता है।

जैसे – Monitor, C.P.U., Ram, Mouse, Keyboard, HDD.

2. Software:- कम्प्यूटर के वह सभी तत्व जिनका उपयोग हार्डवेयर तथा यूजर के मध्य इंटरफेस बनाने के लिए किया जाता है। जिसका उपयोग से यूजर हार्डवेयर का उपयोग करता है। सॉफ्टवेयर को सिर्फ देखा जा सकता है टच नही किया जा सकता है। जैसें – ऑपरेटिंग सिस्टम,एम.एस. ऑफिस , टैली , पेज मेकर इत्यादि।

3. Humanware:- कम्प्यूटर पर कार्य करने वाले व्यक्ति को Humanware कहा जाता है।

4. Procedure:- कम्प्यूटर पर कार्य करने की विधि Procedure कहलाती है।

5. Data/ Information:- कम्प्यूटर के द्वारा किसी कार्य को करने में प्रयुक्त की गई सामग्री डाटा कहलाती है। जिस पर कम्प्यूटर कार्य कर के उसे इनफॉरमेशन में बदलता है।

कम्प्यूटर के लक्षण क्या हैं

कम्प्यूटर का महत्व उसके निम्नलिखित गुणों के कारण है : 

( 1 ) Accuracy : कम्प्यूटर प्रत्येक प्रक्रिया को पूर्ण शुद्धता के साथ क्रियान्वित करता है । यदि कम्प्यूटर गलती करता है तो वह सिर्फ मानव की गलतियों , कमियों या गलत सोच के कारण । 

( 2 ) Repeatitiveness : जब किसी कार्य विशेष से संबंधित निर्देशों का समूह एक बार कम्प्यूटर को स्थायी रूप से दे दिया जाता है , तो जितनी बार हम चाहे उतनी बार कम्प्यूटर उस कार्य को दोहरा सकता है । 

( 3 ) Compactness : आजकल कम्प्यूटर आकार में बहु छोटे होते हैं । इससे उनको लाना , ले जाना व रख – रखावं बहुत आसान होता है । 

( 4 ) Diligence  : इससे तात्पर्य होता है कि प्रत्येक कार्य के लिये हर समय बराबर श्रम व ध्यान देना , क्योंकि व्यक्ति के विपरीत कम्प्यूटर में थकान , एकाग्रता की कमी इत्यादि चीजें नहीं होती हैं । 

( 5 ) Versatility : कम्प्यूटर एक बहु आयामी मशीन है । अर्थात् कम्प्यूटर साधारण से साधारण कार्य के साथ कठिन से कठिन कार्य भी कर सकता है । 

( 6 ) Automation : इससे तात्पर्य होता है कि जब कम्प्यूटर पर एक बार कार्य प्रारंभ कर दिया जाता है तो कम्प्यूटर बिना किसी सहायता या व्यवधान के उस कार्य को पूरा करता है । 

( 7 ) Speed : गति कम्प्यूटर की एक.मुख्य विशेषता है । कम्प्यूटर कोई भी कार्य मानव की तुलना में बहुत अधिक तीव्रता से करता है । 

( 8 ) Storage : कम्प्यूटर की संग्रह क्षमता असीमित होती है । यह उसकी प्राथमिक व सेकण्डरी मेमोरी की उपलब्धता के कारण है , जिसके कारण बहुत अधिक डेटा को संग्रह किया जा सकता है ।

 कम्प्यूटर की विशेषताएँ क्या हैं-

कम्प्यूटर की विशेषताएँ निम्नलिखित हैं 

स्पीड :- 

कम्प्यूटर एक बहुत ही फास्ट डिवाईस है। यह कुछ ही सेकंड में कई लाख साधारण कैलकुलेटर को कर सकता है । ये कम्प्यूटर की स्पीड को मिली सेकंड . माईको सेकण्ड ,नैनो सेकंड  में मापा जाता है ।

एक्यूरेसी या शुद्धता :-

 कम्प्यूटर की एक्यूरेसी बहुत ज्यादा होती है, यह अपना काम बिना किसी गलती के करता है तथा इसकी एक्यूरेसी 100 प्रतिशत होती है।

आटोमेशन या स्वचालन :-

 कम्प्यूटर अपना सारा काम लगभग स्वचालित रूप से करता है लेकिन स्वचालक का कम्प्यूटर के लिए एक विशिष्ट अर्थ है । कंप्यूटर, यूजर द्वारा दिए गए निर्देशो का पालन स्वतः करता है किसी कार्य को बार बार करने के लिए निर्देशों को बार बार नहीं देना होता है कम्प्यूटर कैल्कुलेशन करते समय कुछ लॉजिकल ऑपरेशन भी करता है । जैसे रिजर शीट प्राप्तांको से डिवीजन निकलना व प्रस्तुत करना

जैसे :- मार्कशीट बनाने के लिये यदि प्रत्येक स्टूडेन्ट ने 6 सबजेक्टों में परीक्षा दी है, तो उसका टोटल निकालने के लिये पहले एक सबजेक्ट के अंक लिखने के बाद दूसरे सबजेक्ट का अंक लिखा जाता है, यदि क्रम 6 बार करना हो तो एक कैल्कुलेशन द्वारा अधिक समय लगेगा। लेकिन  यदिइसी कार्य को कम्प्यूटर के द्वारा कराया जाये तो सिर्फ सभी सबजेक्ट के नम्बर कम्प्यूटर में  इनपुट लिये समय लगेगा। बाकी कैलकुलेशन में बहुत थोडा समय लगेगा, कंप्यूटर बाकी

कैलकुलेशन स्वतः पूर्ण कर लेगा।

High Storage Capacity या संग्रह क्षमता :-

एक कम्प्यूटर सिस्टम की डाटा स्टोर करने की कैपेसिटी बहुत अधिक होती है । कम्प्यूटर लाखों पेज के बराबर मेटर को बहुत कम जगह में स्टोर करके रख सकता है । यह सभी प्रकार के डाटा को स्टोर करके रख सकते हैं।

जैसे :-जिन्हें कई वर्षों तक स्टोर करके रखा जा सकता है तथा यूजर स्टोर की गई चीजों को कभी भी सेकण्ड के अंदर प्राप्त करसकता है तथा उसे उपयोग कर सकता है ।

डाटा स्टोरेज यूनिट :-

जिस प्रकार हमारी लैंग्वेज में अको को Decimal Number (0-9) में लिखा जाता है

उसी प्रकार मशीन लैंग्वेज में अंको को बाइनरी लैंग्वेज (0,1) में प्रदर्शित किया जाता है। कंप्यूटर में डाटा स्टोरेज यूनिट को निम्न प्रकार से प्रदर्शित किया जाता है।

1.8 Bit=1 Byte (1 Character)

2.(2″)=1024 Byte =1 Kilo Byte (KB)

3.1024 KB=1 Mega Byte (MB)

4.1024 MB=1 GigaByte (GB)

5.1024 GB=1 Tera Byte (TB)

रिलायबिलिटी:- कम्प्यूटर विश्वसनीय डिवाइस है इसमें रखा डाटा अपने आप ख़राब नहीं होता न ही कंप्यूटर उसमे कोई चेंज करता है कम्प्यूटर की स्टोर करने की क्षमता, एक्यूरेसी तथा याद रखने की शक्ति अधिक होती है अर्थात कम्प्यूटर में या कम्प्यूटर से जुड़ी हुई सारी क्रियाएँ विश्वसनीय होती हैं।

वसालिटी (सार्वभौमिकता) :- कम्प्यूटर अपनी सार्वभौमिक वाले गुण के कारण बड़ी तेज़ी से पापुलर हो रहा है। कम्प्यूटर किसी भी यंत्र का नाम न रहकर आटोमेटिक मशीन के ग्रुप का नाम हो गया है। कम्प्यूटर को पहले गणितीय कार्यों को करने के लिये बनाया गया था लेकिन धीरे धीरे यह व्यवसायिक कार्यों के लिये उपयोग में लाया जाने लगा है । कम्प्यूटर कई क्षेत्रों में कार्य करता है जैसे मेडिकल, एजुकेशन, ऑफिसियल इत्यादि 

कंप्यूटर के कार्य क्या‌ है ?


कम्प्यूटर में निम्न कार्य भी किये जा सकते है जैसे-

1. कम्प्यूटर के साथ प्रिंटर लगाकर सभी प्रकार की जानकारी को कई अलग-अलग  डिजाईनोंमें रिप्रजेंट किया जा सकता है।

2. कम्प्यूटर को फोन लाईन में जोड़ने पर सारी दुनिया में इनफार्मेशन को आदान-प्रदान किया जा सकता है।

3. कम्प्यूटर में कई अलग-अलग प्रकार के गेम्स खेले जा सकते हैं।

FAQ

Q 1 : कंप्यूटर का आविष्कार किसने किया? 

Ans:- ब्रिटिश गणितज्ञ चार्ल्स बैबेज ने 1837 में

Q 2 : कंप्यूटर क्या कार्य करता है?

Ans:-एक कंप्यूटर यूजर से इनपुट लेता है, निरदेश के अनुशार उसे प्रोसेस करता और और उसकी रिजल्ट को अपने आउटपुट डिवाइस के माध्यम से यूजर को दिखता है.

Q 3 : कंप्यूटर के सभी कार्यों को कौन नियंत्रित करता है?

Ans:-CPU कंप्यूटर के सभी भागों के कार्य को नियंत्रित करता है.

Q 4: कंप्यूटर के कितने भाग हैं?

Ans:-चार भाग

Q 5: भारत का सबसे पहला कंप्यूटर कौन सा था?

Ans:-भारत का सबसे पहला कंप्यूटर ISIJU है  इस कंप्यूटर को 1966 में Indian Statistical Institute ( ISI ) और Jadavpur University (JU) ने मिलकर बनाया था 

Q 6: कंप्यूटर को हिंदी में क्या कहते हैं? 

Ans :- संगणक


हमें उम्मीद है कि आपको मेरा article जरूर पसंद आया होगा! कंप्यूटर क्या है ?  मैं हमेशा यह कोशिश करता हूं कि रीडर को इस विषय के बारे में पूरी जानकारी मिल सके ताकि वह दूसरी साइड और इंटरनेट के दूसरे article पर जाने की कोशिश ही ना पड़े। एक ही जगह पूरी जानकारी मिल सके

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